अमेरिका में पढ़ने वाली बेटी को बुलंदशहर में मार डाला

 11 Aug 2020  661

संवाददाता/in24 न्यूज़.  
ऐसी अनेक बेटियां हुई हैं जिन्होंने इस देश का नाम रोशन करने में अपनी ज़िंदगी तक लगा दी. मगर बुलंदशहर से एक बहुत ही दुखद मामला सामने आया है. यहां एक होनहार छात्रा सुदीक्षा भाटी की छेड़छाड़ के दौरान रोड एक्सीडेंट में मौत हो गई. बताया जा रहा है कि सुदीक्षा औरंगाबाद क्षेत्र में सोमवार को अपने चाचा के साथ स्कूटी से कहीं जा रही थी. इस दौरान एक बुलेट पर सवार दो युवकों ने उसका पीछा किया. आरोप है कि चाचा के साथ जा रही सुदीक्षा से युवकों ने छेड़छाड़ शुरू कर दी थी. घर वालों का कहना है कि बुलेट सवार युवक बार-बार स्कूटी को ओवरटेक कर रहा था. इस दौरान एक बार बुलेट सवार युवक ने आगे आकर तेजी से ब्रेक लगा दिया. इसके चलते स्कूटी को अचानक ब्रेक मारने से  सुदीक्षा तथा उसके चाचा सड़क पर गिर गए. यह एक्सीडेंट इतनी जोर से हुआ था कि हादसे में सुदीक्षा की मौत हो गई. इस घटना के बाद हड़कंप मच गया है. गरीब परिवार से ताल्लुक रखने वाली सुदीक्षा पढ़ने में बहुत होशियार थी. साल 2018 में उसने सीबीएसई बोर्ड से इंटरमीडिएट टॉप किया था. इसके बाद उसने अमेरिका पढ़ने जाने के लिए भारत सरकार से तीन करोड़ 80 लाख रुपये की स्कॉलर हासिल की थी. सुदीक्षा उत्तर प्रदेश के गौतमबुद्धनगर जिले की रहने वाली थी. उसकी उम्र 19 साल थी. उसके पिता चाय की दुकान चलाते थे, लेकिन दृढ़ संकल्प वाली सुदीक्षा ने अपने सपने को सच करने के लिए जी तोड़ मेहनत कर यह मुकाम हासिल किया था, लेकिन उसका ऐसा दुखद अंत होगा यह किसी ने नहीं सोचा था. परिजनों की शिकायत के बाद पुलिस ने जांच शुरू कर दी है. अभी भी आरोपी बाइक सवारों का कुछ पता नहीं चल पाया है. दो साल पहले उत्‍तर प्रदेश की इस बेटी ने पूरी दुनिया में अपना नाम रोशन किया था. भारत सरकार के 3.8 करोड़ की स्‍कॉलरशिप पर अमेरिका के बॉबसन कॉलेज में पढ़ाई कर रही सुदीक्षा कोरोना के चलते अपने घर आई हुई थी. सुदीक्षा ने 12वीं की परीक्षा में 98 पर्सेंट नंबर हासिल किए थे. 2016 में सुदीक्षा को पेंसिलपवेनिया के एक इंस्‍टीट्यूट ने समर प्रोग्राम के लिए चुना था और पहली बार वह विदेश गई थी. इसमें भारत से चुने गए बहुत ही होनहार 76 स्‍टूडेंट्स को मौका मिला था. इसके बाद सुदीक्षा ने तय किया था कि वह अपनी आगे की पढ़ाई अमेरिका से करेगी. इसके बाद उसने एसएटी और टीओईएफएल जैसे एग्‍जाम्‍स की तैयारी शुरू की. इस तरह आखिरकार उसे कामयाबी मिली थी और साल 2018 में फुल स्‍कॉलरशिप पर उन्हें अमेरिका के बॉबसन कॉलेज में एडमिशन मिला था. उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव सुदीक्षा को सम्‍मानित भी कर चुके हैं. साल 2009 में छात्रा के घर की आर्थिक स्थिति इतनी खराब थी कि उसे स्कूल तक छोड़ना पड़ गया था. इसके बाद से ही उसने तय किया था कि पैसों को कभी रोड़ा नहीं बनने देगी. लेकिन आज एक होनहार छात्रा का ऐसा दुखद अंत सबको विचलित कर रहा है. बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने दोषियों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की मांग की. इस हादसे ने एक बेटी को सामान पाने और अपना करियर बनाने से पहले ही बेवक़्त मार डाला।