जेट के विमान में यात्रियों के निकले खून

 20 Sep 2018  1252
संवाददाता/in24 न्यूज़। जेट एयरवेज की विमान में एकदम से हंगामा होने लगा जब यात्रियों के नाक और कान से खून बहने लगा। हालांकि, एक बड़ा हादसा होने से बच गया। नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि बोईंग 737 विमान को वापस मुंबई लौटना पड़ा। अधिकारी ने बताया कि उड़ान भरते समय चालक दल के सदस्य ‘ब्लीड स्वीच’ सेलेक्ट करना भूल गये, जिसकी वजह से केबिन प्रेशर सामान्य नहीं रखा जा सका। इस वजह से ऑक्सीजन मॉस्क नीचे आ गये। मुंबई एयरपोर्ट से विमान ने सुबह 7.24 मिनट पर उड़ान भरी थी और 20 मिनट बाद ही इमरजेंसी लैंडिंग के लिए मुड़ गया। गौरतलब है कि जेट एयरवेज की इस विमान मुंबई से जयपुर के लिए उड़ान भरी थी. उड़ान 9 डब्ल्यू 697 में 166 यात्री और चालक दल के पांच सदस्य सवार थे। यात्रियों में से एक द्वारा बनाए गये वीडियो में दिख रहा है कि ऑक्सीजन मास्क नीचे आ गये हैं और यात्री उसकी मदद से सांस ले रहे हैं। अधिकारी ने बताया कि जिन यात्रियों को समस्या पेश आई, उनका हवाई अड्डा पर ही डॉक्टर उपचार कर रहे हैं। विमानन कंपनी के अनुसार, विमान सामान्य रूप से मुंबई में उतरा। कंपनी ने कहा है कि यात्रियों को सुरक्षित उतार कर टर्मिनल में ले जाया गया है। जिन यात्रियों को कान में दर्द और नाक से रक्त स्राव की दिक्कत आयी है उन्हें प्राथमिक उपचार दिया गया है। विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो के एक अधिकारी के अनुसार यह पायलटों की लापरवाही का मामला है क्योंकि केबिन प्रेशर की जांच करना उड़ान भरने से पहले ही प्रक्रिया में शामिल है। अधिकारी ने बताया कि मामले की जांच पहले डीजीसीए करेगा। उसके बाद ही फैसला होगा कि मामले की जांच एएआईबी को सौंपनी है या नहीं। बेहद गंभीर मामलों की जांच की एएआईबी को सौंपी जाती है।एक यात्री ने न केवल पूरे घटनाक्रम का वीडियो ट्वीट किया है बल्कि अंदर की कहानी बताई है। फ्लाइट में मौजूद यात्री दर्शक हाठी ने बताया था कि फ्लाइट के उड़ान भरते ही एसी गड़बड़ हो गई। इसके बाद एयर प्रेशर सिस्टम खराब हो गया और मास्क बाहर निकल आए। हममें से कुछ लोगों को नाक से खून आने के साथ सिर दर्द शुरू हो गया। यात्री के मुताबिक फ्लाइट को करीब एक घंटे बाद मुंबई वापस लाया गया। फ्लाइट में मौजूद लोगों को दूसरी फ्लाइट में शिफ्ट करने का आश्वासन दिया गया।नागर विमानन महानिदेशालय के एक अधिकारी ने बताया कि उड़ान भरते समय चालक दल के सदस्य ब्लीड स्विच सिलेक्ट करना भूल गए। इसकी वजह से केबिन प्रेशर सामान्य नहीं रखा जा सका और ऑक्सिजन मास्क नीचे आ गये। मामले की जांच के आदेश दे दिए गए हैं। वहीं क्रू सदस्यों को जांच पूरी होने तक काम से हटा दिया गया है। इस मामले पर संज्ञान लेते हुए नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने डीजीसीए को तुरंत रिपोर्ट दाखिल करने के निर्देश दिए हैं।जेट एयरवेज के अधिकारी एक यात्री को विले पार्ले स्थित डॉक्टर बालाभाई नानावती अस्पताल ले कर आए। अस्पताल के प्रवक्ता ने बताया कि उन्हें ऑडियोमेट्री जांच के लिए भर्ती किया गया है। अस्पताल कुछ देर में स्वास्थ्य बुलेटिन जारी करेगा। विमान जैसे-जैसे ऊंचाई पर पहुंचता है हवाई दवाब घटने लगता है। विमान के उड़ान भरने से पहले सुरक्षा घोषणा की जाती है। जिसमें बताया जाता है कि हवा का दबाव कम होने पर सीट के ऊपर ऑक्सीजन मास्क आ जाएंगे। जेट एयरवेज की फलाइट में गुरुवार को यही हुआ। इंसान के 80000 फीट की ऊंचाई पर पहुंचने पर केबिन प्रेशर पीएसआई के करीब होता है। ल्मान में मौजूद लोगों के लिए सांस लेने के लिए इतना दबाव काफी होता है। हालांकि कमर्शियल फ्लाइट अक्सर 40000 फीट से ऊपर भी उड़ान भरते हैं। इस लिहाज से मैनुअली केबिन प्रेशर मेंटेन किया जाता है। इसे इलेक्ट्रिक कंप्रेशर, टर्बोकंप्रेशर और इंजन ब्लीड एयर आदि की मदद से मेंटेन किया जाता है।