सीबीआई में अंदरुनी कोहराम

 24 Oct 2018  1216

संवाददाता/in24 न्यूज़. 

देश की विश्वसनीय जांच एजेंसी सीबीआई में मचे कोहराम के बीच मोदी सरकार ने सीबीआई प्रमुख आलोक वर्मा और स्पेशल डायरेक्टर राकेश अस्थाना दोनों को छुट्टी पर भेज दिया है. इस पर सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण ने ऐतराज जताते हुए मोदी सरकार पर हमला बोला है. उनका कहना है कि शायद राफेल की जांच से बचने के लिए सरकार ने आलोक वर्मा को हटाया है. 

प्रशांत भूषण का यह भी कहना है कि सीबीआई डायरेक्टर को गलत तरीके से हटाया गया है. सुप्रीम कोर्ट ने तय किया था कि सीबीआई डायरेक्टर का टर्म दो साल का फिक्स होगा और सिर्फ सेलेक्शन कमेटी ही सीबीआई डायरेक्टर को हटा सकती है. इसी के चलते प्रशांत भूषण शुक्रवार को एक याचिका भी दायर करेंगे.

गौरतलब है कि देश की सबसे बड़ी जांच एजेंसी सीबीआई के भीतर बढ़ते टकराव को देखकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्र सरकार को दखल देना पड़ा. कैबिनेट की अपॉइंटमेंट कमेटी ने रात के तकरीबन साढ़े 11 बजे  एक आर्डर जारी किया, जिसमें यह तय किया गया कि सीबीआई के डायरेक्टर अलोक वर्मा को छुट्टी पर भेज दिया जाए, इसके साथ ही विशेष डायरेक्टर राकेश अस्थाना को भी छुट्टी पर भेज दिया गया. इन दोनों सीबीआई अफसरों के ऑफिस सील बंद कर दिए गए हैं और दोनों से सारे अधिकार छीन लिए गए हैं. केंद्र सरकार ने एम नागेश्वर राव को फ़िलहाल अंतरिम डायरेक्टर बनाया है. फिलहाल इस पर अब केंद्र सरकार शक के घेरे में घिरती नजर आ रही है. मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस और आम आदमी पार्टी चीफ अरविंंद केजरीवाल ने सरकार के फैसले पर सवाल उठाए हैं। वहीं सरकार के इस फैसले के खिलाफ सीबीआई डायरेक्टर आलोक वर्मा ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. सुप्रीम कोर्ट ने भी आलोक वर्मा की याचिका स्वीकार कर ली है. सुप्रीम कोर्ट ने इस पर सुनवाई की तारीख 26 अक्टूबर रखी है.