अस्पताल के फ्रीज़ में बच्चे की लाश पर मानवाधिकार की नज़र

 22 Sep 2020  647

संवाददाता/in24 न्यूज़.
आजकल अस्पतालों की लापरवाही के अनेक मामले सामने आ रहे हैं. इसी कड़ी में  मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग ने इंदौर स्थित एमवाय अस्पताल में एक बच्चे का शव फ्रीजर में रखकर भूल जाने की घटना पर संज्ञान लिया है। इस मामले में आयोग के अध्यक्ष न्यायमूर्ति नरेन्द्र कुमार जैन ने कलेक्टर, पुलिस अधीक्षक तथा अधीक्षक, एम.वाय. हास्पिटल, इन्दौर से तीन सप्ताह में प्रतिवेदन मांगा है। आयोग से प्राप्त जानकारी के अनुसार इन्दौर शहर के एमवायएच अस्पताल में नरकंकाल मिलने के बाद मानवता को शर्मसार कर देने वाला एक और मामला सामने आया है। यहां तीन महीने के एक बच्चे का शव लावारिस मानकर मर्चुरी के फ्रीज़र नंबर 14 में रखकर छोड़ दिया गया और उसके बाद किसी ने सुध नहीं ली। नरकंकाल का मामला सामने आने के बाद जब सारे फ्रीज़र खोले गये, तो ये खुलासा हुआ। बताते हैं कि बच्चे को 12 सितम्बर के पहले 108 एम्बुलेंस अस्पताल लाई थी। यहां इलाज हुआ और फिर मौत हो गई। सुबह शव फ्रीज़र में रख दिया। नियम कहता है कि शव मिलने के 24 घंटे के भीतर पीएम और तीन दिन के भीतर पहचान नहीं होने पर दफना देना चाहिये। अधिकारियों के मुताबिक दस्तावेज देने में कोई मिस कम्युनिकेशन हुआ है। मामले की जांच जारी है। बहरहाल इस लापरवाही ने स्पष्ट कर दिया  है कि जिम्मेदारी से भागना अब भारी पड़ने वाला है.