फेरीवालों पर सियासी आफत !

 13 Nov 2017  2642

ब्यूरो रिपोर्ट / in24 न्यूज़

फेरीवालों पर जबसे मनसे ने कार्रवाई की तबसे फेरीवालों का बुरा दिन शुरू हुआ है। इस महीने का राशन उधार लिया है, आज 36 दिन हो गए धंधा लगाए।' कुछ इन्हीं शब्दों में एक फेरीवाले राजमणि मौर्या का दर्द बयान किया। एलिफिंसटन रोड हादसे के बाद रेलवे और बीएमसी ने फेरीवालों पर कार्रवाई शुरू की। इसमें फेरीवालों की 'रोटी' संकट में आ गई है। बरसों से धंधा कर रहे इन व्यापारियों ने फेरीवाला क्षेत्र का लटका मसला तत्काल हल करने की मांग जोर-शोर से शुरू कर दी है। टाउन वेंडिंग कमिटी (टीवीसी) की मंजूरी की प्रक्रिया राज्य सरकार के पास अटकी होने से इनकी तकलीफें आने वाले कुछ दिनों तक कम होती नजर नहीं आ रही तो वहीं, कोर्ट के आदेश के अनुसार स्टेशनों के आसपास फेरीवालों पर कार्रवाई शुरू है।

 'गलती क्या है हमारी' कई वर्षों से धंधा लगाने वाले एक और फेरीवाले ने कहा  कि हमारी गलती कहां है , इसके पहले भी जब सर्वे हुआ था, हम मौजूद थे। हमें यदि कोई तय जगह बता दी जाए तो हम वहां धंधा लगा लेंगे। हम कब तक इधर-उधर भागते रहेंगे। जब सरकार ने नियम बना दिया है, तो पालन क्यों नहीं हो रहा है। पिछले 15 सालों से कुर्ला से चप्पल लाकर लोअर परेल में बेचने वाले आफताब खान तो इसी चक्कर में अपने घर पैसे नहीं भेज पा रहे हैं। वह कहते हैं कि जब कमाई है ही नहीं तो पैसे कहां से भेजेंगे। उन्हें भी कह दिया है कि किसी से लेकर काम चलाओ।

फेरीवालों को अधिकृत करने के लिए उनके बैठने का स्थान निश्चित करना और इससे जुड़े सभी पहलुओं पर विचार करने के लिए टाउन वेंडिंग कमिटी बनाई जानी है। लेकिन, पहले इसकी प्रक्रिया नहीं शुरू हो पा रही थी और अब जब बीएमसी ने इसके 12 सदस्यों का नाम तय कर लिया है, तो इसमें फेरीवालों को शामिल करने के मुद्दे पर फिर से काम शुरू किया गया है।

जाहिर है कि नए सिरे से फेरीवालों को शामिल करने पर फिर इस कमिटी को मान्यता मिलने में समय लग सकता है। बीएमसी ने रेलवे स्टेशन, धार्मिक स्थलों के आसपास से फेरीवालों को हटाने का काम जोरदार ढंग से कर रही है। यहां तक कि इसके आसपास बसे लाइसेंसधारी फेरीवालों को भी हटाना जारी है। बहरहाल यह देखने वाली बात है कि फेरीवालों के हित में जब तक कोई निर्णय नहीं होता तब तक उनकी तकलीफे बदस्तूर जारी रहेगी , तो वही एल्फिंस्टन रोड के हादसे के बाद राज ठाकरे का हिंसावादी विरोध प्रदर्शन इस बात का सबूत है कि फेरीवालों के बुरे दिन शुरू हो गए है।

फेरीवालों के बुरे दिन शुरू !