वैज्ञानिकों का दावा, 2050 में डूब जाएगी मुंबई

 31 Oct 2019  2002

संवाददाता/in24 न्यूज़।  
बढ़ते प्रदूषण और जलवायु में बदलाव से एक बड़ा खतरा सामने आया है कि 2050 में मुंबई समुद्र में समा जाएगी. गौरतलब है कि समुद्र का जलस्तर बेहद तेजी से बढ़ रहा है और 2050 तक यह दुनिया के कितने शहरों को प्रभावित करेगा इसको लेकर एक नई रिसर्च सामने आई है. इस रिसर्च के मुताबिक, जलस्तर बढ़ने से दुनिया भर में 15 करोड़ लोग प्रभावित होंगे और इनके पास रहने के लिए घर नहीं बचेगा. कई शहर तो ऐसे हैं, जिनके तट पूरी तरह पानी में समा जाएंगे. रिसर्च करने वाले वैज्ञानिकों का दावा है कि इस बार सैटेलाइट की मदद से ये आकलन किया गया है, जो बेहद सटीक है. यहां तक कि अब तक जितनी भी रिसर्च समुद्र के बढ़ते जलस्तर को लेकर हुई हैं, यह उस सबमें एक्यूरेट है. ये रिसर्च न्यू जर्सी स्थिति साइंस ऑर्गनाइजेशन क्लाइमेंट सेंटर ने जारी की है और प्रतिष्ठित जरनल नेचर कम्युनिकेशन में इसे प्रकाशित किया गया है. नई रिसर्च में भारत की आर्थिक राजधानी के बारे में कहा गया है कि शहर के कई मुख्य हिस्सों का सफाया हो जाएगा. बढ़ते जलस्तर की चपेट में आने से कई इलाके पानी में डूब जाएंगे. अंतरराष्ट्रीय स्तर पर काम करने वाली एक माइग्रेशन संस्था के कॉर्डिनेटर डायना लोनेस्को के कहना है कि भारत को अभी से लोगों को रीलोकेट करने का प्लान तैयार करना चाहिए. एशिया के सबसे बड़े ग्रोथ इंजन शंघाई के भी पानी में समा जाने का खतरा है. इस शहर के आसपास के भी शहर पानी में डूब सकते हैं. ताजा रिसर्च में कहा गया है कि 11 करोड़ ऐसे हैं जो पहले से ही हाई टाइड की जद में आने वाली जगहों पर रह रहे हैं. रिसर्च से जुड़े स्ट्रॉस ने कहा कि शंघाई में इसी तरह से निवेश होता रहा तो लोगों को बचाना मुश्किल होगा. उन्होंने न्यू ऑरलिएंस का उदाहरण देते हुए कहा कि कैसे साल 2005 के कैटरीना तूफान में यह द्वीप पूरी तरह बर्बाद हो गया था. स्ट्रॉस ने कहा कि ये हमें तय करना है कि हम कितनी गहराई में रहना चाहते हैं?