विपक्ष के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार बन सकते हैं नीतीश कुमार

 22 Feb 2022  325
संवाददाता/ in24 न्यूज़
 
इस समय देश की राजनीति में जो खिचड़ी पक रही है, अगर वह सही सलामत पक गयी तो आने वाले समय में बिहार (bihar) के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (nitish kumar) नए राष्ट्रपति बन सकते हैं. इस खिचड़ी को पकाने के पीछे पॉलिटिक्ल रणनीतिकार प्रशांत किशोर (prashant kishor) का नाम बताया जा रहा है. वहीं मुख्य सूत्रधार हैं. बताया जा रह है कि इस बाबत प्रशांत किशोर ने कई बड़े नेताओं से मुलाक़ात भी की और कई बड़े नेताओं से मुलाकात करने वाले हैं.
 

इसी मुलाकात के बाद प्रशांत किशोर देश की प्रमुख विपक्षी पार्टियों को साथ लेकर राष्ट्रपति चुनाव (president election) की तैयारियों में जुट गए हैं। सूत्रों के हवाले से खबर आ रही है कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को विपक्षी दल मिलकर राष्ट्रपति उम्मीदवार बनाने की सोच रहे हैं। माना जा रहा है कि प्रशांत किशोर ने इसी संदर्भ में बात करने के लिए नीतीश कुमार से नई दिल्ली में मुलाकात की है। हालांकि इस मुलाकात के बाद जब नीतीश कुमार से पूछा गया तो उन्होंने मुस्कुराते हुए बस यही कहा कि प्रशांत किशोर से उनका पुराना रिश्ता है।

सूत्रों के हवाले से खबर आ रही है कि नीतीश कुमार को विपक्षी दलों का राष्ट्रपति उम्मीदवार बनाने के लिए प्रशांत किशोर कई दलों के नेताओं से बातचीत कर चुके हैं। कहा जा रहा है कि प्रशांत किशोर बारी-बारी से बिहार में आरजेडी नेता तेजस्वी यादव, महाराष्ट्र में शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे, एनसीपी प्रमुख शरद पवार, तेलंगाना के सीएम केसीआर के अलावा पश्चिम बंगाल की सत्ताधारी टीएमसी के नेताओं से भी मुलाकात कर चुके हैं।

दरअसल कुछ दिन पहले प्रशांत किशोर ने तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव से भी मुलाकात की। इसके लिए पीके खुद हैदराबाद पहुंचे थे. कहा जा रहा है कि इस मुलाकात में राष्ट्रपति चुनाव को लेकर चर्चा हुई। साथ ही यह भी तय हुआ कि राष्ट्रपति चुनाव को लेकर सभी विपक्षी पार्टियों को मंच पर लाया जाए। और किसी ऐसे चेहरे को इस पद के लिए आगे किया जाए जो सबके लिए स्वीकार्य हो।

 
कहा जा रहा है कि इसी चर्चा के दौरान प्रशांत किशोर ने बिहार के सीएम नीतीश कुमार को राष्ट्रपति उम्मीदवार बनाए जाने का आइडिया दिया, जिस पर केसीआर तैयार हो गए। सूत्रों के हवाले से यह भी कहा जा रहा है कि प्रशांत किशोर नीतीश कुमार को लेकर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, सपा प्रमुख अखिलेश यादव, तमिलनाडु के सीएम एमके स्टालिन से भी आगे मुलाकात कर सकते हैं। 
 
शिवसेना का अलग रुख
 
हालांकि इन सबसे इतर शिवसेना का अलग ही रुख है. शिवसेना (shivsena) की तरफ से कहा गया कि, अभी राष्ट्रपति के पद पर उम्मीदवारी पर चर्चा जल्दबाजी है. वैसे भी NDA के पास राष्ट्रपति पद के चुनाव में बहुमत है, ऐसे में बहुत ज्यादा स्कोप बचता नहीं है, लेकिन अगर राष्ट्रपति के पद के लिए उम्मीदवार के नाम पर सहमति देनी भी पड़े तो एनडीए (NDA) के सहयोगी दल के नेता के नाम पर नहीं दी जाएगी और इसलिए नीतीश कुमार के नाम पर शिवसेना की सहमति का भी सवाल नहीं उठता है. शिवसेना के सूत्रों में मुताबिक, राष्ट्रपति पद के लिए अगर किसी नाम पर सहमति देनी होगी तो तेलंगाना के मुख्यमंत्री KCR के नाम पर बन सकती है.