गूगल, फेसबुक और ट्विटर का पकिस्तान से मोहभंग
21 Nov 2020
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संवाददाता/in24 न्यूज़.
आज सोशल नेटवर्किंग का ज़माना है. पाकिस्तान सरकार द्वारा अधिकारियों को डिजिटल कंटेंट सेंसर करने का अधिकार दिए जाने के बाद गूगल, फेसबुक ट्विटर जैसी दिग्गज इंटरनेट और टेक्नोलॉजी कंपनियों ने पाकिस्तान छोड़ने की धमकी दी है. आलोचकों का कहना है कि यह रूढ़िवादी इस्लामिक राष्ट्र में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को रोकने के उद्देश्य से किया गया है. एशिया इंटरनेट कोइलिशन जो गूगल, फेसबुक और ट्विटर सहित वैश्विक प्रौद्योगिकी दिग्गजों का प्रतिनिधित्व करती है, की ओर से यह चेतावनी जारी की गई है. इससे पहले प्रधानमंत्री इमरान खान की सरकार ने सरकारी मीडिया नियामकों को नई शक्तियां प्रदान की थीं. एशिया इंटरनेट कोइलिशन ने कहा कि यह इंटरनेट कंपनियों को लक्षित करने वाले पाकिस्तान के नए कानून के दायरे के साथ-साथ सरकार की अपारदर्शी प्रक्रिया है जिसके द्वारा इन नियमों को विकसित किया गया है. नए नियमों के तहत सोशल मीडिया कंपनियों या इंटरनेट सेवा प्रदाताओं को इस्लाम की अवहेलना करने वाली सामग्री पर अंकुश लगाने, आतंकवाद को बढ़ावा देने, अभद्र भाषा, अश्लील साहित्य के लिए 3.14 मिलियन डॉलर तक का जुर्माना लगाने का प्रावधान है. पाकिस्तान के डॉन अखबार के मुताबिक़ सोशल मीडिया कंपनियों को पाकिस्तान की नामित जांच एजेंसी को डिक्रिप्ट, यह लोगों की निजी जानकारी प्रदान करना आवश्यक है. पाकिस्तान चाहता है कि सोशल मीडिया कंपनियां देश में अपने कार्यालय बनाएं. इमरान खान सरकार का कहना है कि यह अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के खिलाफ नहीं है. इमरान खान की सरकार के सत्ता में आने के बाद से, उनके कार्यालय ने पहले कहा था कि नए नियम 2018 के बाद से सोशल मीडिया साइटों द्वारा पाकिस्तान विरोधी, अश्लील और सांप्रदायिक-संबंधित सामग्री को हटाने में देरी के बाद नए नियम बनाए गए थे. नए नियमों के तहत पाकिस्तानी अधिकारियों द्वारा रिपोर्ट किए जाने के 24 घंटे के भीतर सोशल मीडिया कंपनियों को अपनी वेबसाइटों से किसी भी गैरकानूनी सामग्री को हटाने या ब्लॉक करने की आवश्यकता होती है. खान-सरकार द्वारा वीडियो-शेयरिंग प्लेटफ़ॉर्म टिकटोक पर अस्थायी रूप से प्रतिबंध लगाने के कुछ हफ़्ते बाद यह कदम उठाया गया है. बता दें कि पकिस्तान की हरकतों की वजह से गूगल, टिटर और फेसबुक ने पाकिस्तान से नाता तोड़ने का मन बनाया है.