तमिलनाडु के मंदिरों में गैर हिंदुओं के प्रवेश पर रोक

 01 Feb 2024  770

संवाददाता/ in24 न्यूज़.  
हिंदू मंदिरों के संदर्भ में मद्रास हाई कोर्ट ने तमिलनाडु सरकार को आदेश दिया है कि मंदिरों में ऐसे बोर्ड लगाने चाहिए, जिनमें लिखा हो कि गैर हिंदुओं को मंदिर के अंदर जाने की अनुमति नहीं है। कोर्ट ने कहा कि मंदिर कोई पिकनिक स्पॉट नहीं है कि कोई भी घूमने चला आए। हिंदुओं के अपने धर्म को मानने और उसका पालन करने का मौलिक अधिकार है। हाई कोर्ट की मदुरै बैंच की जस्टिस एस श्रीमथी ने डी सेंथिलकुमार की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह फैसला सुनाया। सेंथिलकुमार पलानी हिल टेंपल डिवोटीज ऑर्गेनाइजेशन के संयोजक हैं। याचिकाकर्ता सेंथिलकुमार की मांग थी कि, अरुलमिगु पलानी धनदायुथापानी स्वामी मंदिर और अन्य मंदिरों में सिर्फ हिंदुओं को जाने की अनुमति दी जाए। वह यह भी चाहते थे कि सभी एंट्री गेट पर इस संबंध में डिस्प्ले बोर्ड लगाए जाएं। याचिका को स्वीकार करते हुए अदालत ने राज्य सरकार को निर्देश दिया कि वे मंदिरों के एंट्री गेट, ध्वजस्तंभ के पास और मंदिर के प्रमुख स्थानों पर ‘गैर हिंदुओं को मंदिर के अंदर जाने की अनुमति नहीं है’ वाले बोर्ड लगाएं। कोर्ट ने कहा कि सरकार मंदिरों में उन गैर हिंदुओं को अनुमति न दें, जो हिंदू धर्म में विश्वास नहीं करते हैं। यदि कोई गैर हिंदू मंदिर में दर्शन करना चाहता है, तो उससे वचन लेना होगा कि उसे मंदिर के देवता में विश्वास है और वह हिंदू धर्म के रीति-रिवाजों और प्रथाओं का पालन करेगा। मद्रास हाई कोर्ट ने कहा कि मंदिर संविधान के अनुच्छेद 15 के अंतर्गत नहीं आते, इसलिए किसी मंदिर में गैर हिंदुओं के प्रवेश को रोकने को गलत नहीं कहा जा सकता। बता दें ज्ञानवापी मामले में भी अदालत ने पूजा अर्चना की अनुमति दे दी है।